Thursday, March 3, 2016

गहने महंगे होने से नाराज़ बप्पी दा मुंबई लोकल की पटरी उखाड़ने पहुंचे दादर, भीड़ द्वारा लूटे गए

बप्पी लहरी ने अब सोने के ज़ेवरों का संपूर्ण त्याग कर दिया हैं

बप्पी लहरी ने अब सोने के ज़ेवरों का संपूर्ण त्याग कर दिया हैं

दादर स्टेशन, मुंबई: बजट में सोने से बने गहने महंगे होने की खबर से बप्पी दा खासे नाराज़ चल रहे थे| तभी टीवी पर जाटों का चक्का जाम और पटरी उखाड़ अभियान देख कर बप्पी दा ने भी अपने रोष को धरने द्वारा व्यक्त करने का फैसला किया| मुंबई लोकल की पटरियां उखाड़ने बप्पी दा दादर स्टेशन भी जा पहुंचे थे, पर वहां लोकल का इंतज़ार करती भयंकर भीड़ ने न केवल उन्हें अपने पैरों तले रौंदा पर उनके शरीर पर सुसज्जित गहनों से भी उन्हें हल्का कर दिया| भीड़ में फंसे बप्पी दा को भीड़ ने दादर से क्या घसीटना शुरू किया, आखिरकार वह फटेहाल हालत में वीटी स्टेशन पर पाये गए| बप्पी दा की लेम्बोर्गिनी गाड़ी की चाभियां भी उस धक्कामुक्की में हवा हो गयीं और वह उसी हालत में पैदल अपने घर की और निकले|

बाद में बप्पी दा ने उसी लुटे पिटे फटेहाल कच्छे-बनियान वाली हालत में मीडिया से बात की| उन्होंने कहा, “यार मेरा तो आज बहुत नुक्सान हो गया यार, एक तो जेटली जी ने पूरा सोना का गहना महंगा कर दिया ऊपर से मेरा काफी ज़ेवर उस भीड़ भाड़ में साफ़ हो गया| अभी देखो पहले मेरा गहने का महीने का बजट तीन चार लाख रहता था, अभी देखो सात आठ लाख लगेगा हर महीना| फुल लोस है भाई|”

बप्पी दा के बेटे बाप्पा लाहिरी ने भी बप्पी दा की हालत पर क्रोध ज़ाहिर करते हुए कहा, “डैडी को गहने ज़ेवर का काफी क्रेज़ है, पर सच तो ये है के वो एक काफी सीधे साधे व्यक्तित्व के इंसान हैं| उन्हें चार अंगूठी, दो ब्रेसलेट, छह कंगन, और सात-आठ सोने की चेन गिफ्ट कर दो बस| इतने से में ही खुश हो जाते हैं बेचारे| लेकिन नहीं, सरकार से उनकी ये मासूम ख़ुशी भी नहीं देखी गयी|”

हालाँकि बप्पी दा ने अब कोई और धरना करने से साफ़ इंकार किया है, पर मुंबई के एक NGO नें उनकी तरफ से धरना करने का मन बनाया है| इस NGO नें दावा किया है के अपने गहना प्रेम के वजह से बप्पी दा एक अनूठे इंसान हैं| इस NGO के अनुसार बप्पी दा एक तरह के अल्पसंख्यक ही हैं, क्योंकि उनके तरह के इंसानों की संख्या बहुत कम है| और मौजूदा सरकार ने उनके दिल को चोट पहुँचाकर अपने अल्प संख्यक विरोधी सरकार होने के साफ़ संकेत दे दिए हैं|

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